Heer Ranjha [Short]
Bhuvan Bam
चल ढूँढ लाएँ सारी मासूम सी खुशियाँ
चल भूल जाएँ फ़ासले दरमियाँ
किसने बनाया दस्तूर ऐसा
जीना सिखाया मजबूर जैसा
दिल रो रहा है, दिल है परेशाँ
हीर और राँझा के इश्क़ जैसा
है है है
कहते हैं जो पन्ने होते नहीं पूरे
करते बहुत कुछ बयाँ
मिल जाऊँगा तुझ से फिर उन किताबों में
हो जहाँ ज़िक्र तेरा
तू, तू, मैं और तू
किसने बनाया दस्तूर ऐसा
जीना सिखाया मजबूर जैसा
है है है