Shiddat Reprise
Manan Bhardwaj
अब भी यहीं हूँ पास मैं तेरे
महसूस करना मुझे
बसर कर रहा हूँ तेरी हँसी में
तुझसे मिलाकर तुझे
मुझसे 'गर मिलना हो तो ख़ुद से तू मिलना
मुझसे जो करनी थी ख़ुद से तू करना
वो सारी बातें जो बाक़ी बचीं थी
हाँ, खुल के बताना मुझे
वो ना आ ना आ ना आ
हाँ, शिद्दत बना लूँ तुझे
साँसें नहीं पर जीता रहूँगा
तेरा था, तेरा-ही-तेरा रहूँगा
तेरे लिए मेरी सारी इबादत
और शिद्दत भी तेरे लिए
मेरे लिखे ख़त दोबारा से पढ़ना
आँसू जो आएँ तो थोड़ा सा हँसना
जितनी भी यादें मेरी तुझमें बसी हैं
शिद्दत बना ले उन्हें