Tu Ek Chingari Hai
तू एक चिंगारी थी
अब सिर्फ़ अंधेरा हैं
तू एक चिंगारी थी
अब सिर्फ़ अंधेरा हैं
तुझे कौन निकलेंगा इस
बाँध बाँध दरवाज़े से
तू एक चिंगारी थी
अब सिर्फ़ अंधेरा हैं
तुझे कौन निकलेंगा इस
बाँध बाँध दरवाज़े से
तू एक चिंगारी थी
अब सिर्फ़ अंधेरा हैं
हर साँस मेरी हर आंस मेरी
इन दीवारो मैं क़ैद हौई
हर साँस मेरी हर आंस मेरी
इन दीवारो मैं क़ैद हौई
मैं इक काली खिल भी ना सकी
बस आँधियारो मैं क़ैद हुई
मुझे कौन निकलेंगा
इस बाँध बाँध दरवाज़े से
मैं एक चिंगारी थी
अब सिर्फ़ अंधेरा हूँ
सोचा ना कभी समझा ना कभी
तुझे कौन सी मंज़िल पानी है
सोचा ना कभी समझा ना कभी
तुझे कौन सी मंज़िल पानी है
ये राह नई तू खुद ही चली
ये तेरी ही नादानी हैं
तुझे कौन निकलेंगा इस
बाँध बाँध दरवाज़े से
तू एक चिंगारी थी
अब सिर्फ़ अंधेरा हैं
तू ज़िंदा लाश सुलगती हैं
तन्हाई के अंगरो में
ये दीवारे है काबरा तेरी
तू दफ़न हैं इन दीवारो में
जीवन ने तो ठुकराया है तुझे
क्यूँ मौत बता तू क्यूँ है खफा
अब कौन सुनेगा तेरे शिवा
जो दर्द हैं तेरी पुकारो में
जो दर्द हैं तेरी पुकारो में
जो दर्द हैं तेरी पुकारो में
तू एक चिंगारी थी
अब सिर्फ़ अंधेरा हैं
तुझे कौन निकलेंगा इस
बाँध बाँध दरवाज़े से
तू एक चिंगारी थी
अब सिर्फ़ अंधेरा हैं