Mere Khwabon Mein [Synthwave]
Jatin-Lalit, ANANDSHI BAKSHI
मेरे ख़्वाबों में जो आए आके मुझे छेड़ जाए
मेरे ख़्वाबों में जो आए आके मुझे छेड़ जाए
उस से कहो कभी सामने तो आए
उस से कहो कभी सामने तो आए
मेरे ख़्वाबों में जो आए आके मुझे छेड़ जाए
कैसा है कौन है वो जाने कहाँ है
जिसके लिए मेरे होंठों पे हाँ है
कैसा है कौन है वो जाने कहाँ है
जिसके लिए मेरे होंठों पे हाँ है
अपना है या बेगाना है वो
सच है या कोई अफ़साना है वो
देखे घूरघूर के यूँही दूरदूर से
उससे कहो मेरी नींद न चुराए
मेरे ख़्वाबों में जो आए आके मुझे छेड़ जाए
मेरे ख़्वाबों में जो आए आके मुझे छेड़ जाए
उस से कहो कभी सामने तो आए
उस से कहो कभी सामने तो आए
मेरे ख़्वाबों में जो आए आके मुझे छेड़ जाए