Jis Raat Jalen Na Parwanen

Madan Mohan, Rajinder Krishnan

इश्क़ को क्या मिटाएगा कोई
ये इश्क़ का कावा जले ही जले
जिस रत जले ना परवाने
जिस रत जले ना परवाने
ऐसी तो कोई भी रत नही है
ऐसी तो कोई भी रत नही
जिस रत जले ना जिस रत जले ना
जिस रत जले ना परवाने
ऐसी तो कोई भी रत नही
इश्क़ जलता है, इश्क़ जलता है
जलता है इश्क़ जलता है लाउ आती है
दो चार या दस की बात नही
दो चार या दस की बात नही
जिस रत जले ना परवाने
ऐसी तो कोई भी रत नही
ऐसी तो कोई भी रत नही

क्या चीज़ है ये उलफत की जलन
पुच्च्ो ये किसी दिलवाले से
क्या चीज़ है ये उलफत की जलन
पुच्च्ो ये किसी दिलवाले से
पुच्च्ो ये किसी दिलवाले से
पुच्च्ो ये किसी दिलवाले से
तेरे लिए नज़र से
ज़माना गिरा दिया
हाए तुझको बसके
दिल मे जहा को भुला दिया
वा वा जब तेरी रह गुजर मे
जब तेरी रह गुजर
मे अंधेरा ह्युआ तब
तो फिर क्या किया अजी
मिल ना सका चिराग तो
दिल ही जला दिया क्या दिल जलाया
दिलवाले जल्के दिखाएगे
इस रह पे चलते जाएगे
फरियाद ना लब पर आएगी
ओ हो गम सीनो मे पलते जाएगे
इस रह पे चलते जाएगे
इस रह पे चलते जाएगे
ज़ालिम तेरे वाडो का क्या है
ज़ालिम तेरे वाडो का क्या है
वो हसरत पे टालते जाएगे
दिलवाले जलते जलते जाएगे
इस रह पे चलते जाएगे
अरे रह के भी आयेज लेकिन
शिकवा ना करेगे हम तेरा
तू लॅज़ अहमरी शबर की देख
हम फिर भी भरेगे दम तेरा
क्या चीज़ है ये उलफत की जलन
पुच्च्ो ये किसी दिलवाले से
पुच्च्ो ये किसी दिलवाले से
इस इश्क़ के दुखड़े कों गिने
इस इश्क़ के इस इश्क़ के
इस इश्क़ के दुखड़े कों गिने
कों गिने कों गिने जी कों गिने
इस इश्क़ के दुखड़े कों गिने
दो चार या दस की बात नही
दो चार या दस की बात नही
जिस रत जले ना परवाने
ऐसी तो कोई भी रत नही
ऐसी तो कोई भी रत नही

छूंदद से उठाते हो किसको
याद रहे ये याद रहे
छूंदद से उठाते हो किसको
ये याद रहे ये याद रहे
ये याद रहे ये याद रहे
ये याद रहे ये याद रहे
अजी ये याद रहे
ओ हो मारना ही हमारी मंज़िल है
मंज़िल से नाराज़गी हो किसको
मंज़िल से नाराज़गी हो किसको
ओ हो इस दर की रोनक हुंसे है
तुम दर पे उठाते हो किसको
ओ तुम दर पे उठाते हो किसको
हम ुआद के चले तो जाएगे
और लौट के फिर नही आएगे
मार जाएगे मार जाएगे मार जाएगे
मगर ये याद रहे अजी ये याद रहे
आए दिलदार तेरे हाल पे छ्चोड़ा तुझको
प्यार अगर हो गये लचर तो
प्यार अगर हो गये लचर तो
ओ सितम ग्गार तुझे
ये लोग ना जीने देगे
हम तो मार जाएगे
बेमोट हमारा क्या है
मगर ये याद रहे
अजी ये याद रहे
हम ुआद के चले तो जाएगे
और लौट के फिर नही आएगे
मार जाएगे मार जाएगे मार जाएगे
लेकिन सिटमगर याद रहे
लेकिन सिटमगर याद रहे
लेकिन सिटमगर याद रहे
याद रहे लेकिन सिटमगर याद रहे
अजी याद रहे ये याद रहे
लेकिन सिटमगर याद रहे
है शहर का शहर ही दीवाना
है शहर का शहर ही दीवाना
दीवाना दीवाना
है शहर का शहर ही दीवाना
दो चार या दस की बात नही
दो चार या दस की बात नही
जिस रत जले ना परवाने
ऐसी तो कोई भी रत नही
ऐसी तो कोई भी रत नही
जिस रत जले ना परवाने
दो चार या दस की बात नही
दो चार या दस की बात नही
जिस रत जले ना परवाने

Curiosidades sobre la música Jis Raat Jalen Na Parwanen del Mohammed Rafi

¿Quién compuso la canción “Jis Raat Jalen Na Parwanen” de Mohammed Rafi?
La canción “Jis Raat Jalen Na Parwanen” de Mohammed Rafi fue compuesta por Madan Mohan, Rajinder Krishnan.

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