Aap Ke Haseen Rukh Pe [Revival]

ANJAAN, O P Nayyar

आप के हसीन रुख़ पे आज नया नूर है
मेरा दिल मचल गया तो मेरा क्या कुसूर है
आप के हसीन रुख़ पे आज नया नूर है
मेरा दिल मचल गया तो मेरा क्या कुसूर है
आप के निगाह ने कहा तो कुछ ज़रूर है
मेरा दिल मचल गया तो मेरा क्या कुसूर है

खुली लटों की छाँव में खिला खिला ये रूप है
खुली लटों की छाँव में खिला खिला ये रूप है
घटा से जैसे छन रही सुबह सुबह की धूप है
जिधर नज़र मुड़ी
जिधर नज़र मुड़ी
जिधर नज़र मुड़ी उधर सुरूर ही सुरूर हैं
मेरा दिल मचल गया तो मेरा क्या कुसूर है
आप के हसीन रुख़ पे आज नया नूर है
मेरा दिल मचल गया तो मेरा क्या कुसूर है

झुकी झुकी निगाह में भी हैं बला की शोखियाँ
झुकी झुकी निगाह में भी हैं बला की शोखियाँ
दबी दबी हँसी में भी तड़प रही हैं बिजलियाँ
शबाब आप का
शबाब आप का
शबाब आप का नशे में खुद ही चूर चूर है
मेरा दिल मचल गया तो मेरा क्या कुसूर है
आप के निगाह ने कहा तो कुछ ज़रूर है
मेरा दिल मचल गया तो मेरा क्या कुसूर है

जहाँ जहाँ पड़े कदम वहाँ फ़िज़ा बदल गई
जहाँ जहाँ पड़े कदम वहाँ फ़िज़ा बदल गई
कि जैसे सर बसर बहार आप ही में ढल गई
किसी में यह कशीश
किसी में यह कशीश
किसी में यह कशीश कहा जो आप में हुजूर है
मेरा दिल मचल गया तो मेरा क्या कुसूर है
आप के हसीन रुख़ पे आज नया नूर है
मेरा दिल मचल गया तो मेरा क्या कुसूर है
आप के निगाह ने कहा तो कुछ ज़रूर है
मेरा दिल मचल गया तो मेरा क्या कुसूर है
हम्म हम्म हम्म हम्म

Curiosidades sobre la música Aap Ke Haseen Rukh Pe [Revival] del Mohammed Rafi

¿Quién compuso la canción “Aap Ke Haseen Rukh Pe [Revival]” de Mohammed Rafi?
La canción “Aap Ke Haseen Rukh Pe [Revival]” de Mohammed Rafi fue compuesta por ANJAAN, O P Nayyar.

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