Mere Man Ka Bawra Panchhi
आ आ आ आ आ आ
मेरे मन का बावरा पंछी
क्यों बार बार डोले
मेरे मन का बावरा पंछी
क्यों बार बार डोले
अखियों में आज किस का
रेह रेह्के प्यार डोले
मेरे मन का बावरा पंछी
क्यों बार बार डोले
किस के ख्याल में यह
नजरें झुकी झुकी हैं
देखो इधर भी लब पर
राहे रुकी रुकी हैं
तुम हो करर जिस दिल का
तुम हो करर जिस दिल का
वोही बेक़रार डोले
मेरे मन का बावरा पंछी
क्यों बार बार डोले
दिल को लगन है उसकी
मीठी नजर है जिसकी
दिल को लगन है उसकी
मीठी नजर है जिसकी
हम पास हैं तुम्हारे
फिर दिल में यद् है किस की
तुम जो नजर मिलाओ
तुम जो नजर मिलाओ
दिल में बहार डोले
मेरे मन का बावरा पंछी
क्यों बार बार डोले
कब से खड़े हुए हैं
कह दो तोह लौट जाये
कब से खड़े हुए हैं
कह दो तोह लौट जाये
तुम्हे दूर ही से देखें
हरगिज़ ना पास आये
तुम्हे दूर ही से देखें
हरगिज़ ना पास आये
आँखों में ज़िंदगी भर तक
आँखों में ज़िंदगी भर तक
तेरा इंतज़ार डोले
मेरे मन का बावरा पंछी
क्यों बार बार डोले
मेरे मन का बावरा पंछी
क्यों बार बार डोले