Zindagi Ki Talash Mein Hum
ज़िंदगी की तलाश में हम
मौत के कितने पास आ गये
जब ये सोचा तो घबरा गये
आ गये हम कहाँ आ गये
ज़िंदगी की तलाश में हम
मौत के कितने पास आ गये
हम थे ऐसे सफ़र पे चले
जिसकी कोई भी मंज़िल नहीं
हमने सारी उमर जो किया
उसका कोई भी हासिल नहीं
उसका कोई भी हासिल नहीं
इक खुशी की तलाश में थे
कितने घम हमको तड़पा गये
जब ये सोचा तो घबरा गये
आ गये हम कहाँ आ गये
सोचो हम कितने मजबूर थे
जो ना करना था वो कर गये
पीच्चे मूड के जो देखा ज़रा
अपने हालात से दर्र गये
अपने हालात से दर्र गये
खुद के बारे में सोचें जो हम
अपने आप से शर्मा गये
जब ये सोचा तो घबरा गये
आ गये हम कहाँ आ गये
ज़िंदगी की तलाश में हम
मौत के कितने पास आ गये (आ आ आ )