Apni Rakhsha Aap Karegi [Female]
Farooq Kaisser
अपनी रक्षा आप करेगी
आज की ज़ख़्मी औरत
कल की तरह बेवस ना रहेगी
आज की ज़ख़्मी औरत
अपनी रक्षा आप करेगी
आज की ज़ख़्मी औरत
कल की तरह बेवस ना रहेगी
आज की ज़ख़्मी औरत
अपनी रक्षा आप करेगी
आज की ज़ख़्मी औरत
कल की तरह बेवस ना रहेगी
आज की ज़ख़्मी औरत
अपनी रक्षा आप करेगी
आज की ज़ख़्मी औरत
कल की तरह बेवस ना रहेगी
आज की ज़ख़्मी औरत