Suno Suno Gagan Ke Tare

Pt Gobindram, Qamar Jalalabadi

सुनो सुनो गगन के तारे
सुनो सुनो गगन के तारे
घर आये मेहमान हमारे
सुनो सुनो गगन के तारे

मन कहे मै मिलने जाऊ
नैन कहे शर्माऊ
इन दोनों की उलझन में
कैसे पाऊ बढ़ाऊ
सुनो सुनो गगन के तारे
सुनो सुनो गगन के तारे
घर आये मेहमान हमारे
सुनो सुनो गगन के तारे

चाँद से कहदो चुपके चुपके
उनको ये समझाए
देख रही कोई राह तुम्हारी
कबकी आस लगाये
सुनो सुनो गगन के तारे
सुनो सुनो गगन के तारे
घर आये मेहमान हमारे
सुनो सुनो गगन के तारे

चाँद सितारे कभी किसी का
नहीं संदेसा लाते
जिनको जिनसे प्रीत है
वो खुद ही चल कर आते
जिनको जिनसे प्रीत है
वो खुद ही चल कर आते
कोई तारो को काहे पुकार
कोई तारो को काहे पुकार
हम आये है पास तुम्हारे
कोई तारो को काहे पुकार
हम आये है पास तुम्हारे

छुप जाओ गगन के तारे
छुप जाओ गगन के तारे
आ गए मेहमान हमारे
छुप जाओ गगन के तारे(छुप जाओ गगन के तारे)

Curiosidades sobre la música Suno Suno Gagan Ke Tare del Asha Bhosle

¿Quién compuso la canción “Suno Suno Gagan Ke Tare” de Asha Bhosle?
La canción “Suno Suno Gagan Ke Tare” de Asha Bhosle fue compuesta por Pt Gobindram, Qamar Jalalabadi.

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